*प्रेम एटले शु* *प्रेम नथी सुंदरता निहालतु, प्रेम नथी कदी कद्रूरुपु निहालतु,* *प्रेम नथी कदावर के पतला नथी निहालतु,* *प्रेम नथी कदी नाती जाती नथी निहालतु,* *प्रेम नथी कदी धनवान के निर्धन निहालतु,* *प्रेम को ना दिखे रात के दिन,* *प्रेंम को ना दिखे किसी व्यवस्थित ना दिखे अवयस्थित,* *प्रेम तो बस आखिर प्रेम ही नाम है इसे दूसरा कोई नाम बदलने की कोशिश ना कीजिये.* *"भूख ना जाने भावतु,* *प्रीत ना जाने जात,* *ऊंघ ना जाने उकरदो,* *जया सुता त्या ज रात"........* *सभीका जीवन प्रेममय रहे* _______________________ *इन्सान* " *इस एक कारण से* *अकेला हो जाता है*, " *अपनो" को छोडने की सलाह* " *गैरों" से लेता है*